कूटनीति

भारतीय कूटनीति के नए शिल्पकार मोदी

सात वर्ष के ऐतिहासिक कालखंड में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वैश्विक स्तर पर भारत की सफलता और साख के नए कीर्तिमान गढ़े हैं।

एशिया में भी अलग-थलग पड़ा पाक, बांग्लादेश से भी बिगड़े सम्बन्ध

बांग्लादेश-पाकिस्तान कभी एक थे। अब दोनों के संबंध दुश्मनों की तरह के हो गए हैं। हाल के दिनों में दोनों देशों के संबंधों में काफी तल्खी आती नज़र आ रही है, जिसे भारत के लिहाज से अच्छा संकेत कहा जा सकता है। दरअसल बांग्लादेश ने 1971 के नरसंहार के गुनाहगार और जमात-ए-इस्लामी के नेता कासिम अली को कुछ समय पहले फांसी पर लटकाया। इस पर पाकिस्तान ने आपत्ति जताई। बांग्लादेश ने दो टूक

भारत-यूएई सम्बन्ध : बढ़ेगी भारत की ताक़त, हलकान होगा पाकिस्तान

मोदी सरकार के सत्तारूढ़ होने के बाद से ही देश की विदेशनीति को नये आयाम मिले हैं। अमेरिका, यूरोप समेत एशिया के भी अनेक देशों से भारत के संबंधों में एक नयी मजबूती आयी है। अपनी कामयाब विदेशनीति की कड़ी में पीएम मोदी ने एक और दोस्त बनाया है। अब प्रधानमंत्री मोदी द्वारा संयुक्त अरब अमीरात के साथ भारत के संबंधों को न केवल नये ढंग से मज़बूत बनाने बल्कि उनको सही दिशा में ले जाने

चीनी आक्रामकता का कूटनीतिक जवाब है पीएम मोदी की वियतनाम यात्रा!

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वियतनाम यात्रा दोनों देशों की रणनीतिक और आर्थिक साझेदारी को नया मुकाम देने की दिशा में एक बहुआयामी पहल है। इस यात्रा से जहां दोनों देशों के ऐतिहासिक-सांस्कृतिक विरासत को सहेजने में मदद मिलेगी, वहीं कूटनीतिक तौर पर चीन की बढ़ती आक्रामकता पर लगाम कसने में भी यह यात्रा सहायक सिद्ध होगी। बदलते वैश्विक परिदृश्य में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की यह यात्रा जितना

सामरिक सशक्तिकरण की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है लिमोआ समझौता!

रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर ने 29 अगस्त को अमरीका में लॉजिस्टिक्स एक्सचेंज मेमोरेण्डम ऑफ़ एग्रीमेंट (LEMOA) पर हस्ताक्षर किये हैं। यह समझौता सामरिक दृष्टिकोण से एक अलग तरह का महत्व रखता है। इस समझौते पर हस्ताक्षर करने से भारत और अमेरिका दुनिया भर में फैले एक दूसरे के सैन्य ठिकानों से रसद सहायता साझा कर सकेंगे।