उत्तर प्रदेश को विकास की ऊंचाइयों पर ले जाने वाले रहे हैं योगी सरकार के छह साल

आज योगी सरकार उत्तर प्रदेश में पारदर्शिता, समयबद्ध निर्णय लेने की प्रक्रिया, टीमवर्क, कार्यों के  विकेन्द्रीकरण की नीति और सकारात्मकता के साथ सभी के विकास के लिए कार्य कर रही है। सरकार के अथक प्रयासों का ही परिणाम है कि कभी बीमारू राज्य के रूप में जाना जाने उत्तर प्रदेश अब ‘उत्तम प्रदेश’ की पहचान के साथ विकास-पथ पर अग्रसर है।

योगी सरकार ने अपने छह वर्ष पूरे किए। उत्तर प्रदेश में सर्वाधिक समय तक मुख्यमंत्री रहने का रिकार्ड योगी आदित्यनाथ के नाम हुआ। उनकी सरकार ने पिछले कार्यकाल में ही विकास के अनेक कीर्तिमान बना दिए थे। पचास से अधिक योजनाओं के क्रियान्वयन में यूपी नंबर वन हो गया था। पिछली कई सरकारों को योगी ने अपने एक ही कार्यकाल में बहुत पीछे छोड़ दिया था।

दूसरे कार्यकाल की शुरुआत भी नए मंसूबों के साथ हुई थी। लोक कल्याण संकल्प पत्र के माध्यम से प्रदेश की जनता से किये गये वादे पूरे किए जा रहे हैं। चौसठ हजार हजार करोड़ रुपये से अधिक की धनराशि लोक कल्याण संकल्प पत्र में घोषित संकल्पों के लिए समर्पित है।

यूपी देश की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है। अब प्रदेश को देश की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था वाले राज्य के रूप में आगे बढ़ाने के लिए काम किया जा रहा है। छह वर्ष पहले इसे बीमारू प्रदेश माना जाता था। निवेशकों की उत्तर प्रदेश में कोई दिलचस्पी नहीं थी। कानून व्यवस्था को सुदृढ़ किया गया। योगी आदित्यनाथ ने सरकार में आने के साथ व्यवस्था में बदलाव का संकल्प लिया था।

कानून व्यवस्था को सुदृढ़ बनाना उनकी सर्वोच्च प्राथमिकता रही। बुलडोजर, माफियाओं को मिट्टी में मिलाने का प्रतीक बन गया। व्यवस्था में व्यापक सुधार हुआ। पेशेवर अपराधियों एवं माफियाओं के खिलाफ प्रदेश सरकार की कार्यवाही देश दुनिया में नजीर बनी है।

‘एक जनपद, एक उत्पाद’ योजना की शुरुआत उत्तर प्रदेश में की गयी थी। आज प्रदेश के सभी जनपदों का एक यूनिक प्रोडक्ट है। ओडीओपी योजना ने प्रदेश के निर्यात को दोगुने से अधिक कर दिया है। आज उत्तर प्रदेश एक्सपोर्ट का हब बन रहा है। राज्य में डिफेंस कॉरिडोर भी आकार ले रहा है। लखनऊ में ब्रह्मोस मिसाइल तथा झांसी में भारत डायनामिक्स यूनिट लग रही है।

लोक कल्याण संकल्प पत्र के माध्यम से प्रदेश की जनता से किये गये वादे पूरे किए जा रहे हैं। एक सौ तीस वायदों में से एक सौ दस को इस वर्ष प्रस्तुत बजट में समाहित किया गया है। चौसठ हजार हजार करोड़ रुपये से अधिक की धनराशि लोक कल्याण संकल्प पत्र में घोषित संकल्पों के लिए समर्पित है। प्रदेश को देश की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था वाले राज्य के रूप में आगे बढ़ाने का रास्ता बना लिया गया है।

राष्ट्रीय पटल पर एक नया सक्षम और समर्थ उत्तर प्रदेश उभर कर आया है। विगत छह वर्षों में प्रदेश के बजट में दोगुने से अधिक की वृद्धि हुई है। इस दौरान प्रदेश की प्रति व्यक्ति आय दोगुने से अधिक हुई तथा जीडीपी में भी दोगुने से अधिक बढ़ोत्तरी हुई है। इस दौरान प्रदेश में बजट के दायरे को बढ़ाया गया है। यह उत्तर प्रदेश के अनुरूप है। राज्य को एक ट्रिलियन डॉलर की इकोनॉमी बनाने के लिए सभी सम्भव प्रयास किए जा रहे हैं तथा नेट जीरो की दिशा में आगे बढ़ने के लिए अयोध्या को मॉडल सोलर सिटी के रूप में विकसित करने की कार्यवाही को आगे बढ़ाया जा रहा है।

यूपी सर्वाधिक एक्सप्रेस वे वाला प्रदेश बन गया है। इसके साथ ही सड़कों के निर्माण और इनके किनारे पर औद्योगिक गलियारा बनाने का भी अभूतपूर्व कार्य हुआ है। ”आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश” के संकल्प को पूरा किया जा रहा है। बेहतर इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास करके यहां के औद्योगिक विकास के लिए बेहतर माहौल तैयार किया गया है।

छह वर्ष पहले तक पूर्वांचल पर पिछड़ेपन का दाग था। यहां के मासूम बच्चे इंसेफेलाइटिस का दंश झेलने को विवश थे। भाजपा सरकार बनने के बाद इसे शीर्ष प्राथमिकता दी गई और नियोजित प्रयासों से आज इंसेफेलाइटिस उन्मूलन का प्रयास सफल हुआ है। प्रदेश में धार्मिक पर्यटन को प्रोत्साहित करने की योजनाओं पर कार्य हो रहा है। कुशीनगर में अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा संचालित है। राज्य सरकार रामायण सर्किट और बुद्ध सर्किट का विकास करा रही है।

इससे यह पूरा क्षेत्र पर्यटन के वैश्विक मानचित्र पर प्रमुखता से अंकित होगा। योगी सरकार की निवेश फ्रेंडली नीतियों का सकरात्मक परीणाम मिल रहा है। राजनैतिक स्थायित्व और गुड गवर्नेंस के नए दौर का सृजन हुआ है। प्राकृतिक संसाधनों से समृद्ध यूपी गुड गवर्नेंस, अपराध और भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टालरेंस नीति, सबसे बड़े उपभोक्ता बाजार, सिंगल विंडो पोर्टल निवेश मित्र आदि नीतियों के साथ ईज आफ डूइंग बिजनेस में अग्रणी राज्य है।

पिछले कुछ वर्षों में यहां तीन लाख करोड़ रुपये की सड़कें बनी हैं। आगे भी डबल इंजन की सरकार आगामी पांच साल में पांच लाख करोड़ रुपये का काम उत्तर प्रदेश में करेगी। आठ लाख करोड़ के इन कार्यों के पूरा होने के बाद उत्तर प्रदेश की सड़कों का इंफ्रास्ट्रक्चर अमेरिका के बराबर हो चुका होगा।

जिस प्रदेश में कभी मात्र दो एयरपोर्ट हुआ करते थे, वहां आज वह नौ हवाईअड्डे क्रियाशील हैं। दस नए एयरपोर्ट बन रहे हैं। दो एयरपोर्ट के लिए जमीन की व्यवस्था की जा रही है। ऐसे प्रयासों से उत्तर प्रदेश इक्कीस एयरपोर्ट हो जाएंगे। यूपी सिविल एविएशन के सेक्टर में निवेश के लिए सर्वाधिक आकर्षक प्रदेश बन जाएगा।

ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट की सफलता के पीछे प्रदेश की विश्वस्तरीय कनेक्टिविटी है। विगत साढ़े पांच वर्षों में प्रदेश में इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेण्ट के क्षेत्र में अनेक कार्य किए गए हैं।

पहली बार इण्डस्ट्रियल ग्रोथ और एग्रीकल्चर ग्रोथ का विचार करके राज्य में अधिक मात्रा में इन्वेस्टमेंट लाने का कार्य योगी आदित्यनाथ ने किया है। यह विजन उत्तर प्रदेश की तस्वीर को बदलने वाला है। अगले पांच वर्षों में ऑटोमोबाइल इण्डस्ट्री की क्षमता साढ़े सात लाख करोड़ रुपये से बढ़कर पन्द्रह लाख करोड़ रुपये होने जा रही है। आत्मनिर्भर भारत की परिकल्पना को साकार करने की सामर्थ्य सबसे अधिक उत्तर प्रदेश में है।

प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के अन्तर्गत प्रदेश के पौने दो करोड़ परिवारों को निःशुल्क रसोई गैस कनेक्शन दिए गये हैं। इसमें भी प्रदेश देश में प्रथम स्थान पर है। एक्सप्रेस-वे, अटल पेंशन योजना, प्रधानमंत्री जीवन ज्योति योजना तथा प्रदेश के श्रमिकों/स्ट्रीट वेण्डर्स को भरण-पोषण भत्ता देने में प्रदेश का देश में प्रथम स्थान है। उत्तर प्रदेश देश में कृषि निवेशों पर कृषकों को देय अनुदान का डीबीटी के माध्यम से भुगतान करने वाला देश का नम्बर एक राज्य बन चुका है।

‘हैवन डिस्ट्रिक्ट वन मेडिकल कॉलेज’ का कार्य प्रदेश में प्रगति पर है। छह वर्ष पहले तक प्रदेश में कुल बारह राजकीय मेडिकल काॅलेज बन पाये थे। आज प्रदेश के सोलह जनपदों को छोड़, शेष सभी जनपदों में एक मेडिकल कॉलेज की स्थापना हो चुकी है। सोलह जनपदों में मेडिकल कॉलेज के लिए प्रदेश सरकार युद्धस्तर पर कार्यों को आगे बढ़ा रही है।

आज उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवेज प्रदेश के रूप में जाना जा रहा है। पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे पूर्वी उत्तर प्रदेश को जोड़ रहा है। बुन्देलखण्ड एक्सप्रेस-वे बुन्देलखण्ड क्षेत्र को जोड़ रहा है। गंगा एक्सप्रेस-वे पश्चिमी उत्तर प्रदेश को पूर्वी उत्तर प्रदेश से जोड़ रहा है। वाराणसी से हल्दिया के मध्य देश का प्रथम राष्ट्रीय जलमार्ग प्रदेश को पूर्वी बन्दरगाह के साथ जोड़ता है।

आज योगी सरकार उत्तर प्रदेश में पारदर्शिता, समयबद्ध निर्णय लेने की प्रक्रिया, टीमवर्क, कार्यों के  विकेन्द्रीकरण की नीति और सकारात्मकता के साथ सभी के विकास के लिए कार्य कर रही है। सरकार के अथक प्रयासों का ही परिणाम है कि कभी बीमारू राज्य के रूप में जाना जाने उत्तर प्रदेश अब ‘उत्तम प्रदेश’ की पहचान के साथ विकास-पथ पर अग्रसर है।

(लेखक हिन्दू पीजी कॉलेज में एसोसिएट प्रोफेसर हैं। वरिष्ठ टिप्पणीकार हैं। प्रस्तुत विचार उनके निजी हैं।)