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जानिये क्यों ऐतिहासिक है प्रधानमंत्री मोदी का अमेरिकी संसद में दिया गया भाषण

सिद्धार्थ सिंह भारत और अमेरिका का इतिहास, संस्कृति एवं आस्थाएं भले ही अलग-अलग हों लेकिन दोनों देशों के लोकतंत्र में नागरिकों की अटूट आस्था और अभिव्यक्ति की आजादी की स्वतंत्रता, एक समान हैं। सभी नागरिक के एक सामान अधिकार हैं, यह विचार भले ही अमेरिकी संविधान का केन्द्रीय (मुख्य) आधार हो, लेकिन भारत में संविधान