कठेरिया बवाल बेजा भगवा

कठेरिया के बयान पर व्यर्थ का विवाद

डा.दिलीप अग्निहोत्री अर्द्ध सत्य भ्रमित करता है। इसलिए किसी बयान को पूरे संदर्भ में देखने के बाद ही अंतिम निष्कर्ष निकालना चाहिए, अन्यथा व्यर्थ विवाद उत्पन्न होते हैं, लेकिन राजनीति में अक्सर अपनी सुविधा के अनुसार आधे-अधूरे बयानों को तूल दिया जाता है। संदर्भ से अलग हटकर किसी एक पंक्ति को बड़े मुद्दे के रूप