मोदी सरकार

मोदी सरकार के विकासवादी एजेंडे को अहमियत देती दिख रही पश्‍चिम बंगाल की जनता

मोदी सरकार की बढ़ती लोकप्रियता से घबड़ाकर मुख्‍यमंत्री ममता बनर्जी मोदी सरकार की कई जनोपयोगी योजनाओं को राज्‍य में लागू नहीं कर रही हैं।

किसान हितों को समर्पित है मोदी सरकार, इसलिए अप्रासंगिक हुआ कथित किसान आंदोलन

किसानों की आय बढ़ाने और उनकी स्थिति में सुधार लाने के लिए मोदी सरकार ने अनेक कदम उठाए हैं। ये कृषि कानून भी इसीकी एक कड़ी हैं।

वैश्विक रेटिंग एजेंसियों के आईने में भी मजबूत नजर आ रही भारतीय अर्थव्यवस्था

वैश्विक रेटिंग एजेंसी मूडीज ने वित्त वर्ष 2021-22 के लिए भारत की आर्थिक वृद्धि का अनुमान पहले के 10.8  प्रतिशत से बढ़ाकर 13.7 प्रतिशत कर दिया है।

मोदी सरकार की कारगर आर्थिक नीतियों से बढ़ रहा देश का विदेशी मुद्रा भण्डार

देश में विदेशी मुद्रा भंडार दिनांक 21 जनवरी 2021 को 59,000 करोड़ अमेरिकी डॉलर के स्तर पर पहुंच गया है जो अपने आप में एक रिकार्ड है।

जम्मू-कश्मीर : फिर से महकने लगीं केसर की क्‍यारियां

जुलाई 2020 में कश्‍मीरी केसर को भौगोलिक पहचान (जीआई) टैग मिल गया। अब सरकार ने घाटी के केसर ब्रांड को वैश्‍विक पहचान दिलाने का बीड़ा उठाया है।

कांग्रेस की तुष्टीकरण की राजनीति का परिणाम था हलाल प्रमाणपत्र, मोदी सरकार ने किया समाप्त

तुष्‍टीकरण की नीतियों के चलते कांग्रेसी सरकारों ने हलाल को एक भोजन पद्धति से आगे बढ़ाकर एक समानांतर अर्थव्‍यवस्‍था में तब्‍दील कर दिया था।

कोरोना पर ‘केरल मॉडल’ की तारीफों के पुल बाँधने वाले वहाँ बढ़ते संक्रमण पर खामोश क्यों हैं?

अब जब पूरा देश कोरोना मुक्‍त होता जा रहा है तब केरल में कोरोना अभी भी कहर बनकर टूट रहा है। देश के कुल मामलों का 40 पतिशत केरल से आ रहा है।

नए कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग करने वाले बताएं कि पुराने कानूनों के रहते खेती घाटे का सौदा क्यों बन गयी?

नए कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग करने वाले किसान यह क्‍यों नहीं बता रहे हैं कि पुराने कानूनों से खेती-किसानी घाटे के सौदे में क्‍यों तब्‍दील हो गई?

प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना को पूरे हुए पांच साल, करोड़ों किसानों को मिला लाभ

फसल बीमा योजना ने देश में किसानों के हितों को सुरक्षित किया है। इस योजना के कारण किसान विभिन्न कारणों से फसल के खराब होने के बाद की संकटपूर्ण स्थिति से मुक्त हुआ है।

मोदी सरकार के प्रयासों से भारतीय रेल में हो रहे कई क्रांतिकारी बदलाव

भारत में रेलवे क्षेत्र में हुई धीमी प्रगति के बाद अब पिछले 6 वर्षों के दौरान प्रगति को तेज़ गति प्रदान की गई है एवं आज भारतीय रेल दुनिया के सबसे बड़े नेटवर्क में से एक बन गया है।