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बेहद मजबूत है भारतीय बैंकों का कारोबारी मॉडल, विदेशी बैंकों के डूबने का नहीं होगा कोई असर

भारतीय बैंकों का “कारोबारी मॉडल” दोषपूर्ण नहीं है और इसी वजह से वैश्विक घटनाक्रमों का इस पर कोई प्रतिकूल प्रभाव देखने को नहीं मिला है।

वैश्विक स्तर पर मजबूत होता रुपया

भारत सरकार की पहल से रूपये में अन्तर्राष्ट्रीय कारोबार करने में काफी तेजी आई है। रुपया में अगर सिर्फ 30 देश भी कारोबार करने लगेंगे तो यह अंतरराष्ट्रीय कारोबारी मुद्रा बन जायेगा।

अडाणी प्रकरण : निवेशकों को भरोसा और समझदारी बनाए रखने की जरूरत

यह रिपोर्ट अडाणी इंटरप्राइजेज़ के 20000 करोड़ रुपए के एफपीओ लाने से ठीक पहले जारी किया गया, लिहाजा हिंडनबर्ग की मंशा पर भी सवाल उठ रहे हैं।

भारतीय अर्थव्यवस्था को गति देते बैंक

कर्ज वितरण में तेजी आने, सीडी अनुपात के सकारात्मक रहने और बैंकों के वित्तीय प्रदर्शन में बेहतरी आने से अर्थव्यवस्था की मजबूती के ही संकेत मिल रहे हैं।

मोदी सरकार की आर्थिक नीतियों के चलते सम्पन्न हो रहे हैं भारतीय किसान

वर्ष 2014 में केंद्र में नरेंद्र मोदी की सरकार के आने के बाद से लगातार प्रयास किए जा रहें कि भारतीय किसानों की आय को दुगुना किया जाय।

बेहतर होता बैंकों का प्रदर्शन, अर्थव्यवस्था के लिए अच्छा संकेत

बैंकों का सकल एनपीए और शुद्ध एनपीए महामारी के पहले के स्तर से बेहतर हुआ है। अब ऋण खाते फिसलकर एनपीए में कम तब्दील हो रहे हैं।

रिजर्व बैंक के समायोजन मौद्रिक रुख से अर्थव्यवस्था होगी मजबूत

बैंक क्रेडिट में वृद्धि होने लगी है और जमा में कमी आई है, जो यह दर्शाता है कि निजी खर्च और आर्थिक गतिविधियों में तेजी आ रही है। आने वाले दिनों में भी भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूत बनी रहेगी।

विकास को गति देने वाली मौद्रिक समीक्षा

यह 10वीं मौद्रिक समीक्षा है, जब रेपो दर को 4.0 प्रतिशत पर और रिवर्स रेपो दर को 3.35 प्रतिशत पर यथावत रखा गया है।

बजट प्रावधानों से बैंकिंग क्षेत्र को मिलेगी मजबूती

बजट प्रावधानों से बैंकों के ऋण वृद्धि दर में इजाफा होने और एनपीए के स्तर में कमी आने की संभावना है साथ ही साथ इससे आगामी महीनों में बैंकों के मुनाफे में भी उल्लेखनीय वृद्धि होगी।

वित्तीय समावेशन की दिशा में मोदी सरकार के प्रयास रंग लाने लगे हैं

जिन राज्यों में प्रधानमंत्री जनधन योजना के अंतर्गत अधिक खाते खोले गए हैं तथा वित्तीय समावेशन की स्थिति में सुधार हुआ है, उन राज्यों में अपराध की दर में कमी आई है